जयपुर। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद जयपुर ग्रेटर नगर निगम की महापौर सौम्या गुर्जर ने आज जयपुर ग्रेटर नगर निगम पहुंचकर महापौर पद का पदभार संभाला। इसके लिए उन्हें 7 महीने का इंतजार करना पड़ा। सौम्या गुर्जर को नगर निगम के मुख्य आयुक्त यज्ञमित्र देव से हुई हाथापाई और मारपीट के आरोप में निलंबित कर दिया गया। था इस पर महापौर जब राजस्थान हाईकोर्ट ने भी सरकार के आदेशों की पालना करते हुए मामले की जांच होने तक पद से दूर रहने की बात कही थी। इसके बाद सौम्या गुर्जर के स्थान पर सरकार ने बीजेपी की ही शील धाभाई को कार्यवाहक महापौर की जिम्मेदारी दी थी। शील धाभाई ने भी सात महीने तक ईमानदारी से महापौर के पद पर कार्य किया। कई बार बीजेपी के पार्षदों ने मोर्चा भी खोला लेकिन शहर के विकास आर सफाई कार्यों में शील धाभाई का कार्यकाल यादगार रहेगा।
सौम्या गुर्जर ने पूजा – अर्चना संभाला पदभार
मेयर ने निगम मुख्यालय पहुंचते ही गणेश जी की पूजा अर्चना की। इस दौरान बीेजेपी के पार्षदों उपमहापौर पुनीत कर्णावट , पूर्व उपमहापौर मनीष पारीक सहित अन्य पार्षदों और कर्मचारियों ने महापौर का स्वागत किया। महापौर ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट से उन्हें न्याय मिला है। राज्य सरकार के लोकतंत्र विरोधी फैसले पर रोक लगाई है। वे पहले की तरह ही ज्यादा ताकत से काम करेगी। उन्होंने कहा कि कुछ काल खंड का बुरा समय था जो निकल गया।