प्रेमी प्रेमिका के प्यार में बच्चा बाधा नजर आया तो कर दी हत्या
मिस्ड कॉल से हुआ दोनों में प्यार
भिवाड़ी। अलवर जिले के भिवाड़ी थाने के 200 मीटर दूरी पर 10 अप्रैल को फ्लोरिडा इलेक्ट्रिकल्स इंडस्ट्रीज प्राइवेट लिमिटेड के पास गंदे नाले में बच्चे का शव मिला। मासूम बच्चे का शव मिलने से इलाके में सनसनी फैल गई । लोगों की सूचना पर मौके पर पुलिस पहुंची और मासूम के बच्चे शव को पुलिस ने बरामद कर अस्पताल पहुंचाया। आसपास लोगों से पूछताछ की 100 से 80 सीसीटीवी कंगाल तब मासूम की मां का पता लगा , जब बच्चे के बारे में पूछा की गई तो उसने बच्चे की पहचान अपने बेटे के रूप में की। उसने कोई संतोष जनक जवाब नहीं दिया। लेकिन महिला ने अपने बेटे की रिपोर्ट भी दर्ज नहीं कराई थी, ऐसे में पुलिस का शक महिला पर ही आकर टिक गया। भिवाड़ी के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अतुल साहू ने बताया कि इस मामले में मृतक विक्रम की मां मुन्नी देवी पत्नी पहलू उम्र 35 वर्ष बेगू पहाड़ टोली थाना पालकोट जिला गुमला झारखंड और उसके प्रेमी अरविंद कुमार पुत्र रुदल दयाल निवासी मोहनपुर सैदपुर थाना राघोपुर जिला वैशाली बिहार को गिरफ्तार किया पुलिस ने जब मुन्नी देवी से पूछताछ की तो उसने बताया कि वह करीब 4 साल से अपने पति से अपने बच्चों को लेकर अलग रह रही थी उसका पति दिल्ली में रहता है और वह अपने मासूम बेटे विक्रम के साथ भिवाड़ी में सूरज सिनेमा के पास रविंद्र कुमार कॉलोनी रामपुर में किराए का कमरा लेकर रहती थी मैंने पहले ही अलमारी में इस कॉलोनी में रह रहे अरविंद कुमार से उसकी मुलाकात हुई मुलाकात के दौरान दोनों में बातचीत हुई और बातचीत का सिलसिला प्यार बदल गया दोनों साथ रहने लग गए लेकिन इस दौरान मासूम बेटे विक्रम की बीमारी से परेशान थे लंबे समय से जब से जन्म हुआ तब से ही दिव्यांग पैदा हुआ था और इलाज के लिए लगातार पैसे लग रहे थे मासूम बेटे विक्रम की बीमारी से और लगातार खर्च हो रहे पेज ऑन की कमी की वजह से परेशान थे इसीलिए दोनों ने मिलकर तय किया की मासूम की हत्या कर दी जाए क्योंकि बच्चा जन्म से ही दिव्यांग भी था और बीमार भी था और बीमारी पर लगातार पैसे खर्च भी हो रहे थे फिर भी इलाज नहीं हो रहा था आर्थिक तंगी भी थी तंगी भी थी इसके चलते ही दोनों ने 6 अप्रैल को देर शाम बच्चों के साथ बाहर निकले और उसे रोड पर ही गला दबाकर मारने की कोशिश की लेकिन इस दौरान उन्हें रोड पर सफलता नहीं मिली तो बच्चे को सुनसान जगह पर लेकर गए और उसका चुनरी से गला उठकर हत्या कर दी साथी पास में गंदे नाले में उसके शव को फेंक कर चले गए। जिससे उनको उन पर किसी को शक नहीं हो । इसको लेकर उन्होंने पुलिस में कोई रिपोर्ट भी दर्ज नहीं कराई ।मासूम बच्चे की हत्या इसलिए की गई क्योंकि उनके पास पैसों की कमी थी और वह इसका इलाज भी नहीं कर सकते और दोनों नया जीवन जीना चाहते थे। पहले वाला पति और बेटे का पिता 4 साल से उनकी देखभाल भी नहीं कर रहा था। रिपोर्ट इसलिए दर्ज नहीं कराई की कौन पूछेगा? यहां कौन जानता है, पुलिस ने जब मासूम बच्चे की हत्या के आरोप में मां और उसके प्रेमी रहने को गिरफ्तार किया तो उनके दोनों के चेहरे पर किसी तरह की शिकन नहीं थी। आपको बता दे की बच्चे का पिता भी मजदूरी करता है और जिसके प्यार में मुन्नी देवी फंसी वह भी मजदूरी करता है । उसकी पत्नी और दोनों बच्चे बिहार में रहते हैं। अरविंद एक कंपनी में मजदूरी का काम करता है। डेढ़ महीने पहले ही मुन्नी देवी के संपर्क में आया था। तभी से दोनों एक जगह एक साथ रहने लगे। मुन्नी देवी किसी को फोन लगा रही थी तभी गलत नंबर डायल होने की वजह से वह कॉल अरविंद के पास चला गया। इस दौरान दोनों में बातचीत हुई और दोनों एक दूसरे के संपर्क में आ गए । यही दोनों की प्रेम कहानी की शुरुआत है ।लेकिन इस प्रेम कहानी का अंत जेल से होगा यह दोनों में नहीं सोचा था । जिस महिला ने जिस बच्चे को 9 माह पेट में रखा ,उसे एक प्रेमी से डेढ़ महीने पहले मुलाकात हुई थी उसके लिए उसकी हत्या कर देगी यह भी उसने नहीं सोचा था । लेकिन उसका कहना था कि आर्थिक तंगी और बदहाली इसका मूल कारण है ।शायद आर्थिक तंगी नहीं होी तो वह अपने बच्चे का गल नहीं घोटती।
सीसीटीवी नहीं होते तो नहीं खुलता हत्या का राज
मुन्नी देवी का बेटा जन्म से ही दिव्यांग पैदा हुआ था और जन्म से ही बीमार भी चल रहा था पति साथ छूट चुका था वह खुद मेहनत मजदूरी करके अपना और बच्चे का पेट पाल रही थी । बच्चे का इलाज इलाज भी कराया लेकिन इलाज नहीं हो रहा था बेटे की बीमारी के कारण उसकी पहले वाले पति से अनुबंध हो गई थी जिसके चलते हो 4 साल से उससे अलग रह रही थी । अरविंद के प्यार में ऐसी फंसी क उसके प्यार में डूबती चली गई और उसने आर्थिक तंगी के चलते अपने प्रेमी को यह बात बताई कि इसके इलाज के लिए पैसे नहीं है, यह सही भी नहीं होगा ।दोनों ने उसकी हत्या करने तय किया । हत्या के बादशाहों को पास की फेंक दिया यह तो पुलिस ने यदि सीसीटीवी कैमरे नहीं संभाले होते तो इस हत्या का राज कभी नहीं खुल पत जब अज्ञात साहू की पहचान करने के लिए पुलिस में वहां लगे लगभग 70 80 सीसीटीवी कैमरा को कंगाल तब जाकर एक महिला और पुरुष की संदिग्ध अवस्था में पहचान के आधार पर पुलिस ने लोगों से जब महिलाओं के बारे में जांच पड़ताल की पूछताछ की टू भिवाड़ी शहर की सूरत सिनेमा में जाकर यह पहचान खत्म हुई सूरज सेवा के पास मुन्नी और उसका प्रेमी अरविंद एक कमरे में रहते हुए मिले जब उनसे उनके बेटे के बारे में पूछा गया तो दोनों सब पैक आ गए महिला ने भी कोई जवाब नहीं दिया अलग-अलग पूछताछ की और फुटेज का हवाला दिया तो दोनों टूट गए और दोनों ने इस बात को स्वीकार किया कि उन्होंने आर्थिक तंगी के चलते और खुद एक अच्छी जिंदगी जी सके इसके लिए ही बच्चे की हत्या की थी तब पुलिस ने दोनों को गिरफ्तार कर लिया।
मिस कॉल से हुआ प्यार
4 साल से अपने पति से अलग रह रही मुन्नी देवी किसी को फोन कर रही थी अचानक किसी अनजान नंबर पर मिस्ड कॉल चला गया ।मिस्ड कॉल जाने पर सामने वाले ने पलट कर फोन किया ।पलट कर फोन करने वाला मजदूर अरविंद था ।अरविंद बिहार का रहने वाला था, जिसकी पत्नी और दो बच्चे बिहार रहते थे । वह यहां पर एक फैक्ट्री में रहकर मजदूरी करता था ।दोनों के भी फोन पर बातचीत हुई और फिर यह सिलसिला लगातार बढ़ता गया। बातचीत के बाद दोनों ने एक दूसरे से संपर्क किया। संपर्क करने के बाद दोनों की मुलाकात प्यार में बदल गई और दोनों ने साथ-साथ लिव इन रिलेशन में रहने का निर्णय किया । इस दौरान दोनों साथ-साथ रहने लगे। साथ-साथ रहने के दौरान मुन्नी देवी को अपना बीमा बेटा प्यार में बाधा नजर आने लगा । बेटे की बीमारी और आर्थिक तंगी के बारे में बताया, तब दोनों ने अपनी आनंदपूर्ण जिंदगी शुरू करने के लिए बेटे को बाधा माना और पैसे का खर्चा भी माना। इसलिए दोनों ने मिलकर ही बेटे की हत्या करने का निर्णय किया, जिससे दोनों आजादी पूर्ण तरीके से अच्छा जीवन जी सके। खुलकर प्यार कर सके आनंदपुर जीवन जी सके लेकिन भला कोई अपने बेटे की हत्या करने के बाद अच्छा जीवन कैसे जी सकता है आखिरकार दोनों की करनी और दोनों के कर्मों ने उनकी सजा दी और दोनों सीसी की उत्पत्ति का आधार पर पुलिस करते चढ़ गए पुलिस स्टेशन का फोटो पेश किया जहां से उन्हें डिमांड पर भेज दिया गया है अब उन्हें कोर्ट सजा देगा फिलहाल तो दोनों जेल में।