आप बनेगी सबसे बड़ी विपक्षी पार्टी

पंजाब। पंजाब में चुनाव प्रचार करने में सिर्फ 24 घंटे शेष है और 24 घंटे पूर्व पंजाब की 117 सीटों देखा जाए सबका मुकाबला कांग्रेस से है। कई सीटों पर मुकाबला त्रिकोणत्मक भी नज़र आता है। आप ने प्रचार में सबको पीछे छोड़ दिया है। हालांकि कांग्रेस की सीटें पहले की तुलना में कुछ कम हो सकती है लेकिन सरदार चरणजीत सिंह चन्नी फिर से सरकार बनाने में कामयाब हो जाएंगे। आप की सीट बढ़ेंगी, कैप्टन अमरिंदर सिंह की पार्टी का खाता भी नहीं खुलेगा। भाजपा , अकाली दल और बसपा अपना मान बचा सकते है।

चन्नी के काम ने की सबकी गणित फ़ैल

पिछले चुनाव में कांग्रेस पार्टी ने 117 में से 77 सीटों पर जीत दर्ज की। आम आदमी पार्टी 20, अकाली दल 15, भाजपा 3 और लोक इंसाफ पार्टी 2 सीटों चुनाव जीती थी। पिछली बार भी आप ने प्रचार प्रसार के माध्यम से अपने आपको सत्तासीन मान लिया था। इस बार भी आप पार्टी ने चुनाव प्रचार में कोई कसर नहीं छोड़ी है। हर चैंनल आप के गुण गाता नज़र आ रहा है। सारे टीवी चैनलों ने आप पार्टी को पिछली बार भी और इस बार भी सरकार बना दी है। लेकिन हकीकत यह नहीं जो टीवी चैनल बना रहे हैं।

चन्नी का काम बोलता है

पंजाब में 111 दिन के कार्यकाल में मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने अपनी न केवल पंजाब बल्कि पूरे देश मे अलग पहचान बनाई है। अब चन्नी साडा चन्नी हो गया। जिसके पीछे पंजाब की जनता को आम आदमी की शक्ल नज़र आती है। आम आदमी की छवि नज़र आती है। चन्नी ने पंजाब में 150 से ज्यादा फैसले लिए। पानी, बिजली के बिल माफ किए। पेट्रोल 10 रुपए और डीजल 5 रुपए सस्ता किया। पैंशन बढाई, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता का वेतन बढ़ाना। सहित कई फैसले है।

अब चन्नी का वादा बना गेमचेंजर

चन्नी ने 11 सौ रुपए महिलाओं को 8 गैस सिलेंडर मुफ्त, बच्चों को छात्रवृत्ति, ओबीसी और सामान्य वर्ग के बच्चों को भी छात्रवृत्ति देने की घोषणा की है। इसके साथ ही सभी गरीबों को पक्के आवास, बिजली ,पानी को लेकर भी कई घोषणा की है। 20 लाख तक का इलाज फ्री, फ्री शिक्षा, 1 लाख नौकरियां, महिलाओं को आरक्षण सहित कई वादे किए है जिनकी बदौलत उनके प्रति लोगों में क्रेज है। लोगों को लगता है जिसने 111 दिन में वो कर दिखाया जो लोग सालों में नहीं कर सके इसलिए एक मौका चन्नी को जरूर देना चाहिए।

बीजेपी अकाली दल मान

बीजेपी के खिलाफ किसानों में नाराजगी है लेकिन फिर भी कुछ सीटें बढ़ने की उम्मीद है। बसपा का सारा वोट चन्नी की वजह से कांग्रेस को जाएगा। क्योंकि पंजाब में पहली बार किसी दलित को मुख्यमंत्री बनाया है ऐसे में दलित सीएम को छोड़कर 32 फीसदी वोट चन्नी के खाते में जायेगा। इनमें कैडर बेस वोट जरूर अपनी अपनी पार्टी को मिल सकता है वरना तो इनमें चन्नी को वोट मिलेंगे। दिल्ली में आप पार्टी दलितों की वजह से सत्ता में है। भले वो किसी भी प्रदेश के हों। जैसे जैसे वहां कांग्रेस कमजोर होती गई आप मजबूत हो गई। लेकिन यहां आप की सिर्फ हवा हवा ज्यादा मीडिया ने बना दी है। यहां के पंजाबी समाज मे पंजाबियत के नाम पर भी चन्नी का जलवा दिख रहा है।

पंजाब के जातीय समीकरण

पंजाब में 19 प्रतिशत जट सिख, 38 . 49 फ़ीसदी सभी हिंदू ,32 फ़ीसदी अनुसूचित जाति ,10 . 57 फ़ीसदी अन्य। लेकिन फिर भी पंजाब में जातीय समीकरण ज्यादा नहीं चलते हैं और यहां पर पंजाबियत के नाम पर ही वोट डाले जाते हैं। जाति और धर्म के नाम पर यहां अभी तक ज्यादा कट्टरता नहीं है ।

टीवी चैनलों अखबारों में विज्ञापनों की भरमार

पंजाब में पिछले 20 दिनों से समाचार पत्रों में दिल्ली की सरकार के विज्ञापन चल रहे हैं ।केजरीवाल सरकार के दो- दो पेज के विज्ञापन समाचारों की तरह प्रकाशित हो रहे है। जिसमे दिल्ली सरकार के कामों का ब्यौरा है। टीवी चैनलों पर भी ऐसा ही हाल है। इसलिए समाचार पत्र और टिवी चैनलों को आप ही आप दिखाई दे रही है। जैसे पिछले चुनावों में भी एक तरफा आप को जीता हुआ दिखाया था लेकिन आई 20 सीटें ही। इस बार भी कुछ ऐसा ही है । धरातल पर चन्नी सरकार का काम बोल रहा है। भगवंत मान की शराबी की छवी भी नुकसान कर रही है।

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